जलभराव से जनजीवन प्रभावित, बांधों में पानी की अच्छी आवक
बारिश से जलभराव और जनजीवन प्रभावित, चार बांधों पर चादर चल रही, दो लबालब; मौसम विभाग ने अलर्ट जारी किया, स्कूल-आंगनबाड़ी दो दिन बंद।

दौसा जिले में बीते 24 घंटों से रिमझिम और कभी-कभी मध्यम बारिश का सिलसिला जारी है। रविवार रात को जिले के कई इलाकों में मध्यम से तेज बारिश दर्ज की गई, वहीं सोमवार सुबह से रुक-रुक कर रिमझिम बारिश हो रही है। इस बारिश ने जनजीवन को काफी हद तक प्रभावित किया है। हालांकि, बीच-बीच में हल्की धूप निकलने से मौसम के साफ होने की उम्मीद जताई जा रही है। मौसम विभाग ने बारिश का अलर्ट जारी किया है, जिसके चलते जिले में स्कूलों और आंगनबाड़ी केंद्रों की दो दिन की छुट्टी घोषित की गई है।
जलभराव से सड़कों पर परेशानी, वाहन चालकों की मुश्किलें बढ़ीं
लगातार बारिश के कारण जिले में कई जगह जलभराव की स्थिति बन गई है। जयपुर-आगरा नेशनल हाईवे पर ढाबर ढाणी के पास सड़क पर पानी भरने से वाहन चालकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। इसी तरह, जयपुर रोड पर लालसोट बाईपास पुलिया के पास और आगरा रोड पर संत सुंदरदास स्मारक के सामने गिरिराज धरण मंदिर तक सर्विस रोड पर जलभराव ने स्थानीय लोगों के लिए मुसीबत खड़ी कर दी है। सड़कों पर पानी जमा होने से आवागमन में दिक्कतें बढ़ गई हैं और लोग अपने रोजमर्रा के कामों को पूरा करने में असमर्थ हो रहे हैं।
बांधों में पानी की आवक, कई बांध लबालब
जिले में कई दिनों से हो रही अच्छी बारिश का असर बांधों पर भी देखने को मिल रहा है। दौसा के 39 बांधों में से चार बांधों पर चादर चल रही है, जबकि दो बांध पूरी तरह लबालब हो चुके हैं। कई एनीकट भी ओवरफ्लो की स्थिति में हैं। जिले के सबसे बड़े मोरेल बांध पर सवा दो फीट की चादर चल रही है, जबकि सूरजपुरा, महेश्वरा और नामोलाव बांधों पर दो-दो फीट की चादर दर्ज की गई है। दीवांचली और भांकरी बांध अपनी पूरी क्षमता तक भर चुके हैं।
सैंथल सागर बांध में पानी का स्तर साढ़े तीन फीट बढ़कर 17 फीट 5 इंच हो गया है। झिलमिली बांध के भी जल्द लबालब होने की संभावना है। अन्य बांधों की स्थिति इस प्रकार है:
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चांदराना बांध: 8 फीट
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गेटोलाव बांध: 6 फीट
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कालाखो बांध: 8 फीट
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सिंथोली बांध: 13.10 फीट
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सिनोली बांध: 6.11 फीट
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रेडिया बांध: 13.5 फीट
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खारली बांध: 3 फीट 7 इंच
स्थानीय प्रशासन सतर्क, लोगों से सावधानी बरतने की अपील
लगातार बारिश और जलभराव की स्थिति को देखते हुए स्थानीय प्रशासन ने लोगों से सावधानी बरतने की अपील की है। मौसम विभाग के अलर्ट के मद्देनजर प्रशासन ने स्कूलों और आंगनबाड़ी केंद्रों को बंद रखने का फैसला लिया है ताकि बच्चों और कर्मचारियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके। साथ ही, जलभराव वाले इलाकों में यातायात को सुचारू करने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं।
स्थानीय लोगों का कहना है कि बारिश ने जहां एक ओर खेती-बाड़ी के लिए राहत दी है, वहीं जलभराव ने उनकी मुश्किलें भी बढ़ा दी हैं। प्रशासन से जल्द से जल्द जल निकासी की व्यवस्था करने की मांग की जा रही है।