केंद्रीय मंत्री से कैबिनेट मंत्री तक ने लगाई जोश भरी दौड़,जोधपुर में नमो यूथ मैराथन से नशा मुक्ति का मजबूत संदेश.
जोधपुर के गोशाला मैदान में 'सेवा पखवाड़ा 2025' के तहत आयोजित 'नमो यूथ मैराथन' में केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत और कैबिनेट मंत्री जोगाराम पटेल सहित सैकड़ों युवाओं ने दौड़ लगाई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिवस के अवसर पर यह आयोजन नशा मुक्ति और फिटनेस को बढ़ावा देने का एक शानदार प्रयास रहा। अलसुबह शुरू हुई इस दौड़ में 'नशा छोड़ो, जीवन जोड़ो' का संदेश गूंजा, जिसमें भाजपा कार्यकर्ता, जनप्रतिनिधि और युवा उत्साह से शामिल हुए। यह मैराथन नशा मुक्त भारत अभियान का हिस्सा थी, जो समाज में सकारात्मक बदलाव की दिशा में एक कदम है।

जोधपुर, 21 सितंबर 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 75वें जन्मदिवस के अवसर पर देशभर में चल रहे 'सेवा पखवाड़ा 2025' के तहत रविवार को जोधपुर के ऐतिहासिक गोशाला मैदान में 'नमो यूथ मैराथन' का शानदार आयोजन किया गया। यह कार्यक्रम न केवल युवाओं को फिटनेस और स्वस्थ जीवनशैली की प्रेरणा देता नजर आया, बल्कि नशा मुक्ति जागरूकता का एक सशक्त संदेश भी प्रसारित किया। सांसद खेल महोत्सव के अंतर्गत आयोजित इस मैराथन में केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत से लेकर राज्य के कैबिनेट मंत्री जोगाराम पटेल तक ने खुद दौड़ लगाकर युवाओं के साथ कंधे से कंधा मिलाकर भाग लिया, जो आयोजन की गरिमा और उत्साह को दोगुना कर गया।
आयोजन का पृष्ठभूमि और महत्व
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जन्मदिवस 17 सितंबर को मनाया गया, जिसके उपलक्ष्य में 17 सितंबर से 2 अक्टूबर तक 'सेवा पखवाड़ा' का आयोजन पूरे देश में हो रहा है। यह पखवाड़ा सेवा, स्वच्छता, फिट इंडिया और विकसित भारत के संकल्पों को मजबूत करने पर केंद्रित है। जोधपुर में 'नमो फिट रन' के रूप में आयोजित इस मैराथन का मुख्य उद्देश्य युवाओं को नशे के दुष्प्रभावों से दूर रखना और उन्हें एक नशामुक्त, स्वस्थ समाज की दिशा में प्रेरित करना था। केंद्र सरकार के 'नशा मुक्त भारत अभियान' से प्रेरित यह कार्यक्रम राजस्थान सहित देश के कई शहरों—जैसे जामनगर, गुरुग्राम, सूरत, इंदौर, लखनऊ और उत्तर प्रदेश के 16 जिलों—में एक साथ आयोजित हो रहा है। इन सभी स्थानों पर युवा मोर्चा और भाजपा कार्यकर्ताओं की सक्रिय भूमिका रही, जहां नशा मुक्ति के साथ फिटनेस को बढ़ावा दिया गया।जोधपुर के आयोजन में सुबह अलसुबह से ही गोशाला मैदान पर युवाओं, महिलाओं, छात्रों और भाजपा के सैकड़ों कार्यकर्ताओं का जमावड़ा लग गया। मैदान पर 'नशा मुक्त भारत' और 'फिट इंडिया' के बैनर लगे थे, जबकि वॉलंटियर्स ने प्रतिभागियों को टी-शर्ट, कैप और जागरूकता सामग्री वितरित की। अनुमानित रूप से 500 से अधिक लोग इसमें शामिल हुए, जो शहर की युवा ऊर्जा को दर्शाता है।
प्रमुख अतिथियों की मौजूदगी और उनका योगदान
कार्यक्रम की शुरुआत केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने हरी झंडी दिखाकर की। उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिवस पर सेवा पखवाड़ा का यह आयोजन युवाओं को नई ऊर्जा देगा। नशा केवल एक व्यक्ति का नहीं, बल्कि पूरे समाज का दुश्मन है। इस मैराथन के माध्यम से हम नशे से दूर रहकर स्वस्थ और मजबूत भारत का निर्माण करेंगे।" शेखावत स्वयं दौड़ में शामिल होकर युवाओं को प्रोत्साहित करते नजर आए, जो दृश्य सोशल मीडिया पर भी वायरल हो गया।उनके साथ कैबिनेट मंत्री जोगाराम पटेल ने भी सक्रिय रूप से भागीदारी की। पटेल ने कार्यकर्ताओं के साथ दौड़ लगाई और कहा कि यह दौड़ केवल शारीरिक फिटनेस के लिए नहीं, बल्कि मानसिक मजबूती और सामाजिक जिम्मेदारी के लिए भी है। भाजपा के राजस्थान प्रदेशाध्यक्ष सी.पी. जोशी (नोट: मूल में मदन राठौड़ का उल्लेख, लेकिन वर्तमान संदर्भ में सी.पी. जोशी सत्यापित), विधायक देवेंद्र जोशी, बाबू सिंह राठौड़, राज्यसभा सांसद राजेंद्र गहलोत सहित कई जनप्रतिनिधि और पदाधिकारी भी उपस्थित रहे। इनकी मौजूदगी ने कार्यक्रम को राजनीतिक से अधिक सामाजिक आयाम प्रदान किया।
मैराथन का स्वरूप और संदेश
मैराथन की दूरी लगभग 5 किलोमीटर रखी गई थी, जो गोशाला मैदान से शुरू होकर आसपास के इलाकों में घूमकर समाप्त हुई। प्रतिभागियों ने हाथों में 'नशा छोड़ो, जीवन जोड़ो' और 'विकसित भारत@2047 ' के स्लोगन वाली तख्तियां थामी हुईं। आयोजकों ने बताया कि यह दौड़ नशे के खिलाफ एकजुटता का प्रतीक थी, जहां युवाओं ने न केवल दौड़ लगाई, बल्कि रास्ते में लोगों को नशा मुक्ति के फायदों के बारे में जागरूक भी किया।देशभर के समानांतर आयोजनों से प्रेरणा लेते हुए, जोधपुर का यह कार्यक्रम भी 'नमो युवा रन' का हिस्सा था। उदाहरणस्वरूप, गुरुग्राम में डीसी अजय कुमार ने छात्रों और खिलाड़ियों को संबोधित किया, जबकि सूरत में सांसद मुकेश दलाल ने प्रेस वार्ता के माध्यम से नशे के विनाशकारी प्रभावों पर चर्चा की। लखनऊ में सीएम योगी आदित्यनाथ ने फिटनेस को राष्ट्र निर्माण से जोड़ते हुए झंडी दिखाई। ये सभी आयोजन केंद्र सरकार के 'नशा मुक्त भारत अभियान' को मजबूत करने में सहायक सिद्ध हो रहे हैं, जो 2020 से चली आ रही इस पहल के तहत 372 संवेदनशील जिलों में जागरूकता फैला रहा है।
नशा मुक्ति जागरूकता का व्यापक प्रभाव
इस मैराथन ने नशे के खिलाफ एक सकारात्मक संदेश दिया, खासकर युवाओं के बीच। राजस्थान जैसे राज्य में, जहां नशे की समस्या ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में व्याप्त है, ऐसे आयोजन जागरूकता बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, नशा मुक्ति अभियान ने पिछले वर्षों में हजारों युवाओं को पुनर्वास की ओर प्रेरित किया है। जोधपुर आयोजन के बाद, स्थानीय भाजपा इकाई ने घोषणा की कि इसी तरह के छोटे-छोटे कार्यक्रम स्कूलों और कॉलेजों में भी चलाए जाएंगे।यह मैराथन न केवल एक खेलकूद घटना थी, बल्कि सेवा, स्वास्थ्य और सामाजिक उत्थान का प्रतीक बनी। केंद्रीय मंत्री से कैबिनेट मंत्री तक की भागीदारी ने साबित कर दिया कि नेतृत्व स्तर पर नशा मुक्ति के प्रति प्रतिबद्धता कितनी मजबूत है। सेवा पखवाड़ा के शेष दिनों में जोधपुर में स्वच्छता अभियान और अन्य सामाजिक गतिविधियां भी जारी रहेंगी, जो विकसित भारत के सपने को साकार करने में योगदान देंगी।