इंस्टाग्राम रील्स बनी वैवाहिक विवाद की वजह,पत्नी ने दो साल के बेटे संग घर छोड़ा, 20 दिन बाद भी नहीं मिला सुराग.

अजमेर में इंस्टाग्राम रील्स के कारण पति-पत्नी के बीच विवाद ने एक परिवार को त्रासदी में डुबो दिया। जय किशन की पत्नी रितु बंसीवाल, अपने दो साल के बेटे के साथ 9 सितंबर 2025 को घर छोड़कर लापता हो गईं। पति द्वारा रील्स बनाने पर आपत्ति जताने से उपजा विवाद इस घटना की जड़ बना। 20 दिन बाद भी पुलिस को कोई सुराग नहीं मिला, और जय किशन ने पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया। यह मामला सोशल मीडिया के रिश्तों पर पड़ते प्रभाव और पुलिस की निष्क्रियता को उजागर करता है।

Oct 3, 2025 - 09:06
इंस्टाग्राम रील्स बनी वैवाहिक विवाद की वजह,पत्नी ने दो साल के बेटे संग घर छोड़ा, 20 दिन बाद भी नहीं मिला सुराग.

अजमेर, 3 अक्टूबर 2025: राजस्थान के अजमेर शहर में सोशल मीडिया की दुनिया ने एक सुखी परिवार को त्रासदी की ओर धकेल दिया है। मिस्त्री मोहल्ला, गुलाब बाड़ी इलाके में रहने वाले जय किशन की जिंदगी तब उथल-पुथल में बदल गई, जब उनकी पत्नी रितु बंसीवाल ने इंस्टाग्राम पर रील्स बनाने को लेकर हुए विवाद के बाद दो साल के मासूम बेटे को लेकर अचानक घर से  चली गई। 9 सितंबर 2025 को हुई इस घटना के 20 दिन बाद भी रितु और उनके बेटे का कोई सुराग नहीं लगा है। जय किशन का आरोप है कि स्थानीय पुलिस ने उनकी शिकायत पर कोई गंभीर कार्रवाई नहीं की, जिससे वे दर-दर भटकने को मजबूर हो गए हैं।

 विवाद की जड़: रील्स का शौक बन गया तलवार

जय किशन एक साधारण मजदूर हैं, जो परिवार का पालन-पोषण करने के लिए दिन-रात मेहनत करते हैं। उनकी पत्नी रितु घरेलू कामकाज के अलावा सोशल मीडिया पर काफी सक्रिय रहती थीं। खासकर इंस्टाग्राम पर वे फिल्मी गानों पर डांस करते हुए छोटी-छोटी रील्स बनाकर अपलोड करतीं, जो उनके दोस्तों और फॉलोअर्स को खूब पसंद आतीं। लेकिन जय किशन को यह सब पसंद नहीं था। उनका मानना था कि रितु का यह शौक परिवार की जिम्मेदारियों से ध्यान भटका रहा है और समाज में गलत संदेश दे रहा है।"मैंने उनसे कई बार कहा कि घर संभालो, बच्चे की देखभाल करो। रील्स बनाना अच्छा है, लेकिन दिनभर फोन में लगे रहना सही नहीं," जय किशन ने बताया। 8 सितंबर को इसी मुद्दे पर दोनों के बीच जोरदार बहस हुई। जय किशन ने सख्ती से रितु को रील्स बनाने से मना कर दिया, जिससे रितु नाराज हो गईं। अगले ही दिन, 9 सितंबर की सुबह, रितु अपने दो साल के बेटे को लेकर बिना किसी को बताए घर से चली गईं। जय किशन जब शाम को काम से लौटे, तो घर सूना पड़ा था। कोई नोट, कोई कॉल – कुछ नहीं। बस रितु का फोन स्विच ऑफ था।

पुलिस की कथित लापरवाही

घर लौटते ही जय किशन ने तुरंत अलवर गेट थाने में अपनी पत्नी और बेटे की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। लेकिन रिपोर्ट दर्ज होने के बावजूद, पुलिस की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठा। जय किशन के अनुसार, थाने में हर बार जाते तो अनुसंधान अधिकारी बहाने बनाते। "कभी कहते जांच चल रही है, कभी डांटते कि बार-बार क्यों आते हो। एक बार तो बोले, खुद ढूंढ लो," जय किशन ने अपनी व्यथा सुनाते हुए कहा।परेशान जय किशन ने आखिरकार 29 सितंबर को जिला पुलिस अधीक्षक (एसपी) कार्यालय का रुख किया। उन्होंने एसपी को एक लिखित शिकायत सौंपी, जिसमें पुलिस की निष्क्रियता पर सख्त कार्रवाई की मांग की। एसपी ने मामले को गंभीरता से लिया और थाने को तुरंत जांच तेज करने के निर्देश दिए। लेकिन आज 20 दिन बाद भी रितु और बेटे का कोई सुराग नहीं लगा है। पुलिस ने बताया कि वे सीसीटीवी फुटेज, मोबाइल लोकेशन और रिश्तेदारों से पूछताछ कर रही है।

सोशल मीडिया रिश्तों पर बढ़ता खतरा

यह घटना आधुनिक समय में सोशल मीडिया के दोहरे चेहरे को बेनकाब करती है। एक ओर जहां इंस्टाग्राम रील्स जैसे प्लेटफॉर्म महिलाओं को अपनी प्रतिभा दिखाने का मौका देते हैं, वहीं वहीं पारिवारिक कलह का कारण भी बन रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि भारत में ऐसे मामले बढ़ रहे हैं, जहां ऑनलाइन एक्टिविटी को लेकर पति-पत्नी के बीच टकराव हो रहा है। अजमेर के एक काउंसलर ने कहा, "रील्स बनाना गलत नहीं, लेकिन संतुलन जरूरी है। कई बार छोटी बातें बड़े विवाद में बदल जाती हैं।"जय किशन के रिश्तेदारों का भी यही कहना है। रितु के भाई ने बताया कि वे बहन से संपर्क करने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन कोई जवाब नहीं। परिवार में चिंता का माहौल है – खासकर छोटे बच्चे की सुरक्षा को लेकर। जय किशन की आंखें नम हो जाती हैं जब वे बेटे की तस्वीरें दिखाते हैं। "मेरा बेटा निर्दोष है। सिर्फ रिश्ते की लड़ाई में वह क्यों सजा भुगते? मैं सिर्फ यही चाहता हूं कि दोनों सुरक्षित लौट आएं," उन्होंने अपील की।

यह मामला न केवल एक परिवार की दर्दभरी कहानी है, बल्कि पुलिस तंत्र की संवेदनशीलता पर भी सवाल खड़े करता है। गुमशुदगी के मामलों में महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा सर्वोपरि होनी चाहिए, लेकिन जय किशन का अनुभव उल्टा बयां करता है। राजस्थान पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, "हम सभी शिकायतों पर त्वरित कार्रवाई करते हैं, लेकिन संसाधनों की कमी कभी-कभी बाधा बनती है। इस मामले में अब स्पेशल टीम लगाई गई है।"अजमेर जैसे शहरों में सोशल मीडिया से जुड़े वैवाहिक विवाद बढ़ रहे हैं। क्या परिवारों को जागरूकता की जरूरत है? क्या पुलिस को ट्रेनिंग देकर ऐसे केसों को प्राथमिकता दी जानी चाहिए?