मूसलाधार बारिश से बाढ़ जैसे हालात, बच्चे की मौत, बुनियादी ढांचे को भारी नुकसान
मूसलाधार बारिश ने मचाई तबाही, एक बच्चे की मौत, कई क्षेत्रों में जलप्लावन .. नदी-नाले उफान पर, सड़कें-बांध क्षतिग्रस्त, बस्तियों में भरा पानी।

लगातार हो रही मूसलाधार बारिश ने राजस्थान के कई क्षेत्रों में भारी तबाही मचाई है। नदी-नाले उफान पर हैं, जिससे कई गांवों का आपस में संपर्क टूट गया है। पिछले 24 घंटों में शाहाबाद उपखंड में सर्वाधिक 193 मिमी बारिश दर्ज की गई, जबकि कुछ क्षेत्रों में 205 मिमी तक बरसात हुई।
मांगरोल में हादसा, बच्चे की मौत
मांगरोल में 70 साल पुरानी दीवार ढहने से एक 13 वर्षीय बच्चे की मौत हो गई और एक अन्य घायल हो गया।
जलप्लावन और बुनियादी ढांचे को नुकसान:
- देवरी: पलको नदी का पानी बस्तियों में घुसने से जलप्लावन की स्थिति बन गई।
- छत्रगंज-जलवाड़ा: रपट टूटने से आवागमन बाधित।
- नाहरगढ़: बांदीपुरा तालाब में रिसाव।
- कस्बाथाना: पलको नदी में पुल निर्माण के उपकरण बह गए, एक ट्रक फंसा।
- अटरू: पार्वती-किशनपुरा बांध पर 12 फीट की चादर, हाईलेवल ब्रिज के पिलर 25 फीट तक डूबे। पार्वती नदी उफान पर।
- बजरंगगढ़-जलवाड़ा मार्ग: गोबरचा के पास पानी के बहाव से रास्ता बंद।
- ख्यावदा: पीतामपुरा और रामपुर सुंडा में पशुपालक नदी-नालों के उफान में फंसे।
- भंवरगढ़: थाने में 3-4 फीट पानी भरने से रिकॉर्ड, कंप्यूटर और अन्य सामान खराब। पुलिसकर्मी रिकॉर्ड बचाने में जुटे।
अन्य प्रभावित क्षेत्र:
- छीनोद, रानीबड़ौद, बेगमती बस्ती में घरों में पानी घुसा, चूल्हे तक नहीं जले।
- अस्पताल रोड, कोली, भाई मोहल्ला, तखड़िया तलाई में जलभराव। अस्पताल में पंप लगाकर पानी निकाला गया।
- पुरानी पंचायत रोड की दुकानों, खेल मैदान, स्कूल और थाना परिसर में पानी भरा।
- गेबी तलाई की पाल टूटने से थाना और तात्यां टोपे चौराहे की बस्ती में जलप्लावन।
- बिलासी बांध और कालीसोत तालाब पर चादर चल रही है।
प्रशासनिक कार्रवाई
जिला कलेक्टर रोहिताश्व सिंह तोमर और एसपी राजकुमार चौधरी ने प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। तहसीलदार अभयराज सिंह ने बताया कि 3 घंटे की झमाझम बारिश से स्थिति गंभीर हुई। आपातकालीन टीमें राहत कार्य में जुटी हैं।
बिजली और जलापूर्ति ठप
कस्बे में विद्युत आपूर्ति पूरी तरह ठप होने से जलापूर्ति बाधित रही। टोल प्लाजा पर आवागमन रोका गया।
स्थानीय लोगों की शिकायत
बेगमती बस्ती के निवासियों ने बताया कि हर साल बारिश में यही हाल होता है, लेकिन स्थायी समाधान नहीं निकला।
यह स्थिति बारिश के कारण अपर्याप्त जल निकासी और कमजोर बुनियादी ढांचे की समस्या को उजागर करती है। प्रशासन से प्रभावित क्षेत्रों में तत्काल राहत और दीर्घकालिक समाधान की मांग की जा रही है।