जयपुर के विश्वकर्मा औद्योगिक क्षेत्र में क्रांति: 45 करोड़ की परियोजनाओं से चमकेगा औद्योगिक भविष्य ,कर्नल राज्यवर्धन राठौड़

जयपुर के विश्वकर्मा और विश्वकर्मा-विस्तार औद्योगिक क्षेत्रों में रीको ने 45 करोड़ रुपये की परियोजनाओं को मंजूरी दी है, जिसका नेतृत्व उद्योग मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ कर रहे हैं। 2024-25 में 28 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए, जिसमें से 17 करोड़ रुपये के कार्य शुरू हो चुके हैं। इनमें 14 किमी सड़कों का निर्माण, 13,500 वर्ग मीटर पेव्ड शोल्डर, 2 किमी नालियों का उन्नयन और 3.5 किमी बिजली लाइनों का भूमिगतकरण शामिल है। 2025-26 में 17 करोड़ रुपये की लागत से 7.25 किमी सड़कों का व्हाइट टॉपिंग, 3.2 किमी नालियों का उन्नयन और सड़कों का चौड़ीकरण प्रस्तावित है। ये परियोजनाएं उद्यमियों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करेंगी और जयपुर की औद्योगिक प्रगति को बढ़ावा देंगी।

May 22, 2025 - 15:56
May 22, 2025 - 16:48
जयपुर के विश्वकर्मा औद्योगिक क्षेत्र में क्रांति: 45 करोड़ की परियोजनाओं से चमकेगा औद्योगिक भविष्य ,कर्नल राज्यवर्धन राठौड़

जयपुर का विश्वकर्मा और विश्वकर्मा-विस्तार औद्योगिक क्षेत्र अब विकास की नई ऊंचाइयों को छूने को तैयार है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के विजन के साथ, उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ ने इस क्षेत्र को औद्योगिक नक्शे पर एक नया मुकाम दिलाने की ठानी है। नेतृत्व में राजस्थान सरकार के कैबिनेट मंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ रीको औद्योगिक क्षेत्रों के आधारभूत ढांचे के विकास के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध हैं।रीको ने इन क्षेत्रों में आधारभूत ढांचे को मजबूत करने के लिए 45 करोड़ रुपये की महत्वाकांक्षी परियोजनाओं को हरी झंडी दी है, जो उद्यमियों के लिए सुविधाओं को आधुनिक बनाने और व्यवसाय को रफ्तार देने का वादा करती हैं।

2024-25: विकास की पहली लहर

वित्तीय वर्ष 2024-25 में रीको ने विश्वकर्मा और विश्वकर्मा-विस्तार के लिए 28 करोड़ रुपये (2791.85 लाख रुपये) की परियोजनाओं को मंजूरी दी। इसमें से 17 करोड़ रुपये (1726.20 लाख रुपये) के कार्यादेश जारी हो चुके हैं, और 4.23 करोड़ रुपये (423.82 लाख रुपये) का खर्च हो चुका है। ये परियोजनाएं क्षेत्र को नया रूप दे रही हैं, जिनमें शामिल हैं:

  • मजबूत सड़कें: 14 किलोमीटर लंबी सड़कों का डामरीकरण और सीमेंट कंक्रीट से निर्माण, जो लंबे समय तक टिकाऊ रहेंगी।
  • पक्के कंधे: 13,500 वर्ग मीटर में पेव्ड शोल्डर बनाए गए, जिससे सड़कों की सुंदरता और सुरक्षा बढ़ी।
  • नालियों का कायाकल्प: 2 किलोमीटर लंबी नालियों को उन्नत किया गया, ताकि जलभराव की समस्या खत्म हो।
  • बिजली का आधुनिकीकरण: 3.5 किलोमीटर ओवरहेड बिजली लाइनों को जमीन के नीचे ले जाया गया, जिससे क्षेत्र का लुक साफ-सुथरा हुआ और बिजली आपूर्ति सुरक्षित हुई।

इनमें से ज्यादातर काम पूरे हो चुके हैं, और बाकी परियोजनाएं तेजी से अपनी मंजिल की ओर बढ़ रही हैं। ये बदलाव न केवल उद्यमियों को बेहतर सुविधाएं दे रहे हैं, बल्कि क्षेत्र में यातायात को भी सुगम बना रहे हैं।

2025-26: भविष्य की नींव

विकास की रफ्तार को और तेज करने के लिए रीको ने वित्तीय वर्ष 2025-26 में 17 करोड़ रुपये (1700.55 लाख रुपये) की नई योजनाओं की रूपरेखा तैयार की है। ये परियोजनाएं क्षेत्र को और आधुनिक बनाएंगी, जिनमें शामिल हैं:

  • व्हाइट टॉपिंग सड़कें: 7.25 किलोमीटर सड़कों को सीमेंट कंक्रीट पेवमेंट से चमकाया जाएगा, जो टिकाऊ और मौसम प्रतिरोधी होंगी।
  • मजबूत नालियां: 3.2 किलोमीटर नालियों को आरसीसी बॉक्स टाइप संरचना से उन्नत किया जाएगा, जिससे जल निकासी की व्यवस्था और बेहतर होगी।
  • सुगम यातायात: मुख्य चौराहों पर ओवरहेड बिजली लाइनों को जमीन के नीचे ले जाया जाएगा, जिससे सड़कें अव्यवस्था मुक्त होंगी।
  • सड़कों का विस्तार: चिन्हित सड़कों को चौड़ा किया जाएगा, ताकि बढ़ते यातायात को संभाला जा सके और उद्यमियों को आवागमन में आसानी हो।

कर्नल राठौड़ की दूरदर्शी पहल

कर्नल राज्यवर्धन राठौड़ की अगुवाई में रीको ने न केवल धनराशि स्वीकृत की, बल्कि इन परियोजनाओं को समय पर और गुणवत्ता के साथ पूरा करने का संकल्प भी लिया है। उनकी कोशिशों से विश्वकर्मा औद्योगिक क्षेत्र उद्यमियों के लिए एक आदर्श हब बनने की राह पर है। ये परियोजनाएं न केवल स्थानीय अर्थव्यवस्था को मजबूती देंगी, बल्कि जयपुर को देश के प्रमुख औद्योगिक केंद्रों में शुमार करेंगी।

उद्यमियों के लिए नया दौर

ये विकास कार्य विश्वकर्मा और विश्वकर्मा-विस्तार को नया जीवन दे रहे हैं। बेहतर सड़कें, आधुनिक बिजली व्यवस्था और उन्नत नालियां उद्यमियों को व्यवसाय विस्तार के लिए प्रोत्साहित करेंगी। साथ ही, ये बदलाव क्षेत्र में नए निवेश को आकर्षित करेंगे, जिससे रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और जयपुर की औद्योगिक पहचान और मजबूत होगी।

विश्वकर्मा औद्योगिक क्षेत्र अब केवल एक औद्योगिक हब नहीं, बल्कि जयपुर के उज्ज्वल भविष्य का प्रतीक बनने जा रहा है। कर्नल राठौड़ की यह पहल निश्चित रूप से इस क्षेत्र को समृद्धि और प्रगति के नए द्वार खोलेगी।