5 दिन बाद भी बाड़मेर हत्याकांड के आरोपी फरार, NSG कमांडो चंपालाल की तलाश जारी, सहयोगी मांगीलाल गिरफ्तार

बाड़मेर के होडू में खेताराम की हत्या के पांच दिन बाद भी मुख्य आरोपी एनएसजी कमांडो चंपालाल और ओमप्रकाश फरार, सहयोगी मांगीलाल गिरफ्तार। पुलिस ने स्कार्पियो जब्त की, कई राज्यों में छापेमारी जारी।

Sep 24, 2025 - 13:01
Sep 24, 2025 - 17:30
5 दिन बाद भी बाड़मेर हत्याकांड के आरोपी फरार, NSG कमांडो चंपालाल की तलाश जारी, सहयोगी मांगीलाल गिरफ्तार

राजस्थान के बाड़मेर जिले में सरणू थाना क्षेत्र के होडू गांव में पांच दिन पहले हुई क्रूर हत्या का मामला अब भी सुलझा नहीं है। स्थानीय निवासी खेताराम की तलवार से काटकर की गई निर्मम हत्या के मुख्य आरोपी, पूर्व एनएसजी कमांडो चंपालाल और उसके साथी ओमप्रकाश, पुलिस की गिरफ्त में नहीं आए हैं। इस बीच, पुलिस ने दोनों के एक सहयोगी मांगीलाल को हिरासत में ले लिया है, जिससे जांच में कुछ प्रगति हुई है। घटना के बाद से परिजनों का गुस्सा थमने का नाम नहीं ले रहा, जबकि पुलिस विभिन्न राज्यों में छापेमारी तेज कर चुकी है।

शराब के नशे में तलवारबाजी, एक की मौत और एक गंभीर रूप से घायल

सरणू क्षेत्र में आपसी विवाद के बाद शराब के नशे में धुत होकर मुख्य आरोपी चंपालाल, ओमप्रकाश, मांगीलाल और उनके अन्य साथियों ने तलवारें लहराते हुए हमला बोल दिया। निशाना बने खेताराम, हरलाल उर्फ हरखाराम और वीरेंद्र। हमले में खेताराम के हाथ-पैर काट दिए गए, जिससे अत्यधिक खून बहने के कारण उनकी मौके पर ही मौत हो गई। वहीं, हरखाराम को गंभीर चोटें आईं और उनका इलाज जिला अस्पताल में जारी है। वीरेंद्र को भी मामूली चोटें आईं, लेकिन वह खतरे से बाहर हैं।

यह घटना पांच दिन पहले हुई थी, जब आरोपी स्कार्पियो गाड़ी में सवार होकर मौके पर पहुंचे और अंधाधुंध हमला किया। स्थानीय लोगों के अनुसार, यह आपसी बोलचाल से उपजी दुश्मनी का नतीजा था, जो शराब के नशे ने और भड़का दिया।

मोर्चरी के बाहर धरना, एसपी की समझाइश से शांत हुए परिवार वाले

हत्या के तुरंत बाद मृतक के परिजनों ने जिला अस्पताल की मोर्चरी के बाहर जोरदार धरना शुरू कर दिया। उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि मुख्य आरोपियों की गिरफ्तारी के बिना शव को हाथ नहीं लगाएंगे। इस तनावपूर्ण स्थिति में एसपी नरेंद्रसिंह मीना खुद मौके पर पहुंचे और परिजनों व धरनार्थियों से लंबी चर्चा की। उन्होंने समझाया कि धरना-प्रदर्शन से पुलिस की जांच बाधित होगी और आरोपी भागने में सफल हो जाएंगे। एसपी ने आश्वासन दिया कि पांच दिनों के अंदर सभी आरोपी पकड़े जाएंगे, जिसके बाद परिजन शांत हुए। मृतक का पोस्टमार्टम कराया गया और दाह संस्कार पूर्ण हुआ। फिर भी, अब पांचवें दिन भी मुख्य आरोपी फरार हैं, जिससे पुलिस पर दबाव बढ़ता जा रहा है।

सहयोगी गिरफ्तार, स्कार्पियो जब्त, विशेष टीमें कई राज्यों में सतर्क

पुलिस ने अब तक की कार्रवाई में आरोपी मांगीलाल उर्फ मांगाराम (पुत्र नींबाराम जाट, निवासी गोदारों की ढाणी, सड़ा सणपा मानजी) को गिरफ्तार कर लिया है। मांगीलाल दोनों मुख्य आरोपियों का करीबी सहयोगी माना जा रहा है। इससे पहले ही वारदात में इस्तेमाल हुई स्कार्पियो गाड़ी को जब्त कर लिया गया था। घटनास्थल पर फोरेंसिक टीम (एफएफएल), मोबाइल एक्सपर्ट (एमओबी) और डॉग स्क्वॉयड ने महत्वपूर्ण साक्ष्य संग्रहित किए हैं, जो जांच को मजबूत बनाने में सहायक साबित हो रहे हैं।

एसपी मीना के नेतृत्व में एएसपी जसाराम बोस और गुड़ामालानी डीएसपी सुखराम विश्नोई की निगरानी में विशेष जांच दल (डीएसटी) का गठन किया गया है। इसमें सदर थाना, रीको और गुड़ामालानी थाने की टीमें शामिल हैं। आरोपियों की तलाश में टीमें बाड़मेर, बालोतरा, जालोर, गुजरात, महाराष्ट्र, बैंगलोर तक भेजी गई हैं। यहां तक कि दिल्ली स्थित एनएसजी मुख्यालय और बीएसएफ बटालियन मुख्यालय में भी छापेमारी की गई, लेकिन चंपालाल का कोई सुराग नहीं मिला।

एनएसजी से रिलीज कमांडो, अब खूनी खेल में फंसा

मुख्य आरोपी चंपालाल (पुत्र लाखाराम) एक पूर्व एनएसजी कमांडो है, जिसे 31 जुलाई 2025 को ही आचरण संबंधी शिकायतों पर एनएसजी मुख्यालय के आईजी ने रिलीज कर दिया था। उसके बाद उसे बीएसएफ बटालियन में भेजा गया था। दूसरा मुख्य आरोपी ओमप्रकाश (पुत्र कुंभाराम) भी चंपालाल का करीबी साथी है। दोनों हत्या के बाद से फरार हैं और पुलिस को शक है कि वे किसी छिपे हुए ठिकाने पर हो सकते हैं। मृतक खेताराम (पुत्र राऊराम जाट, निवासी होडू, सरणू) एक साधारण किसान थे, जिनकी यह क्रूर हत्या इलाके में सनसनी फैला रही है।

पुलिस ने पांच दिनों के अंदर सभी आरोपियों को पकड़ने का वादा किया था, जो अब पूरा हो चुका है। एसपी मीना ने कहा, "जांच तेजी से चल रही है और जल्द ही बाकी आरोपी भी न्याय के कटघरे में होंगे।" स्थानीय लोग इस मामले में पुलिस की निष्पक्ष जांच की मांग कर रहे हैं, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं पर अंकुश लग सके।

Yashaswani Journalist at The Khatak .