सवा लाख मोदकों की भव्य झांकी, 251-251 किलो के विशाल मोदकों का भोग, 9 दिन का उत्सव शुरू

जयपुर के मोतीडूंगरी गणेश मंदिर में गणेश चतुर्थी के लिए 9 दिन के उत्सव शुरू; सवा लाख मोदकों की झांकी सजाई गई, 251-251 किलो के दो मोदक रहे आकर्षण।

Aug 20, 2025 - 16:52
सवा लाख मोदकों की भव्य झांकी, 251-251 किलो के विशाल मोदकों का भोग, 9 दिन का उत्सव शुरू

गणेश चतुर्थी का पर्व 27 अगस्त को पूरे देश में धूमधाम से मनाया जाएगा। इस अवसर पर जयपुर के प्रसिद्ध मोतीडूंगरी गणेश मंदिर में आज से 9 दिन के भव्य कार्यक्रमों की शुरुआत हो गई है। पहले दिन मंदिर में सवा लाख मोदकों की आकर्षक झांकी सजाई गई, जिसने भक्तों का मन मोह लिया। इस झांकी का मुख्य आकर्षण 251-251 किलोग्राम वजन के दो विशाल मोदक रहे, जिन्हें देखने के लिए सुबह 5 बजे से ही भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी।

भगवान गणेश को अर्पित किए गए विशाल और स्वादिष्ट मोदक

मंदिर में प्रथम पूज्य भगवान गणेश को विशेष भोग के रूप में विभिन्न आकारों के मोदक अर्पित किए गए। इनमें 51 किलोग्राम के 5 मोदक, 21 किलोग्राम के 21 मोदक और 1.25 किलोग्राम के 1100 मोदक शामिल थे। इसके अलावा, हजारों छोटे मोदकों से झांकी को भव्य रूप दिया गया। मंदिर के महंत कैलाश शर्मा ने बताया कि इन मोदकों को तैयार करने में कुल 14,600 किलोग्राम सामग्री का उपयोग किया गया। इसमें 2,500 किलोग्राम घी, 3,000 किलोग्राम बेसन, 9,000 किलोग्राम शक्कर और 100 किलोग्राम मेवा शामिल रहा।

इन मोदकों को भगवान को भोग लगाने के बाद प्रसाद के रूप में भक्तों में निःशुल्क वितरित किया गया। भक्तों ने इसे भगवान गणेश का आशीर्वाद मानकर बड़े श्रद्धा भाव से ग्रहण किया।

माणक-पन्ना जड़ित मुकुट से सजे विघ्नहर्ता

पहले दिन भगवान गणेश को माणक और पन्ना जड़ित विशेष मुकुट धारण कराया गया, जिसने मंदिर की शोभा को और बढ़ा दिया। सुबह से ही मंदिर में भक्तों की भारी भीड़ देखी गई। हर कोई विघ्नहर्ता के दर्शन और आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए उत्साहित था। मंदिर परिसर भक्ति और उत्साह के रंग में डूबा रहा।

21 अगस्त को होगा पंचामृत अभिषेक

गणेश चतुर्थी के उत्सव में 21 अगस्त को विशेष पंचामृत अभिषेक का आयोजन होगा। इसके लिए 251 किलोग्राम दूध, 25 किलोग्राम बूरा, 50 किलोग्राम दही, 11 किलोग्राम शहद और 11 किलोग्राम घी से तैयार पंचामृत का उपयोग किया जाएगा। इस दिन 501 महिलाएं कलश यात्रा के साथ मोतीडूंगरी मंदिर पहुंचेंगी, जिससे उत्सव की भव्यता और बढ़ेगी।

भक्तों में उत्साह, मोदक बने आकर्षण का केंद्र

मोदक भगवान गणेश का प्रिय भोग माना जाता है, और यही कारण है कि भक्तों ने प्रसाद के रूप में मिले मोदकों को विशेष आशीर्वाद के रूप में ग्रहण किया। मंदिर में सुबह से देर रात तक भक्तों का तांता लगा रहा। हर कोई इस पवित्र अवसर पर भगवान गणेश के दर्शन और उनके प्रिय मोदक का प्रसाद पाने के लिए उत्साहित था।

Yashaswani Journalist at The Khatak .