लखनऊ में रिश्तों का खूनी अंत: दामाद ने सास-ससुर को चाकू से मौत के घाट उतारा

लखनऊ के आलमबाग में जगदीप ने अपनी पत्नी पूनम के माता-पिता, अनंतराम और आशा देवी, की चाकू से गोदकर हत्या कर दी। पारिवारिक विवाद और पूनम के मायके में रहने से नाराज जगदीप ने पहले अनंतराम की गर्दन रेत दी, फिर आशा देवी पर हमला किया। पूनम ने बचाने की कोशिश की, लेकिन असफल रही। पड़ोसियों ने जगदीप को पकड़कर पुलिस को सौंप दिया। पूनम, जो शिक्षिका है, अपनी पति की अय्याशी और मारपीट से तंग थी और मायके में रह रही थी। पुलिस ने हत्या का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की।

Jul 3, 2025 - 19:32
Jul 3, 2025 - 19:33
लखनऊ में रिश्तों का खूनी अंत: दामाद ने सास-ससुर को चाकू से  मौत के घाट उतारा

लखनऊ के आलमबाग इलाके में एक दिल दहला देने वाली घटना ने पूरे शहर को झकझोर कर रख दिया। गढ़ी कनौरा में रहने वाली पूनम की जिंदगी उस वक्त उजड़ गई, जब उनके पति जगदीप ने उनके माता-पिता, अनंतराम (75) और आशा देवी (73), की चाकू से गोदकर बेरहमी से हत्या कर दी। यह वारदात पारिवारिक विवाद का नतीजा थी, जिसमें पूनम और जगदीप के बीच लंबे समय से चल रही अनबन ने खौफनाक मोड़ ले लिया। पूनम, जो पेशे से शिक्षिका है, अपने पति की शराबखोरी, मारपीट और अय्याशी से तंग आकर अप्रैल से अपने मायके में रह रही थी। इस दुखद घटना ने न केवल एक परिवार को तोड़ दिया, बल्कि रिश्तों में विश्वास की नींव को भी हिला दिया।

क्या हुआ उस रात?

बुधवार रात करीब 8 बजे, जगदीप अपनी पत्नी पूनम को वापस ससुराल ले जाने की मंशा से गढ़ी कनौरा स्थित उनके मायके पहुंचा। पूनम और जगदीप की शादी को 10 साल हो चुके थे, लेकिन यह रिश्ता शुरुआत से ही तनावपूर्ण रहा। पूनम ने बताया कि जगदीप की शराबखोरी, मारपीट और गलत हरकतों ने उनकी जिंदगी नारकीय बना दी थी। उसने जगदीप के खिलाफ महिला आयोग में शिकायत भी दर्ज की थी, जिससे वह और नाराज था। उस रात जब पूनम ने उसके साथ जाने से मना किया, तो बातचीत कहासुनी में बदल गई। जगदीप ने पहले पूनम पर हमला किया और उसे थप्पड़ जड़ दिया। यह देखकर पूनम के पिता अनंतराम, जो रेलवे सुरक्षा बल (RPF) से रिटायर कमांडो प्रशिक्षक थे, और मां आशा देवी ने बीच-बचाव की कोशिश की। इससे गुस्साए जगदीप ने अपने बैग से चाकू निकाला और अनंतराम की गर्दन पर ताबड़तोड़ वार किए, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। इसके बाद उसने आशा देवी पर भी हमला किया, उनके पेट और गर्दन पर कई वार किए, जिससे वह भी लहूलुहान होकर गिर पड़ीं। दोनों को बचाने की पूनम की कोशिश नाकाम रही। वह अपने खून से लथपथ पिता से लिपटकर रोती रही, लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी।

किरायेदार पर भी हमला करने की कोशिश

घटना के दौरान पूनम की चीख सुनकर ऊपरी मंजिल पर रहने वाली किरायेदार धर्मशिला देवी नीचे दौड़ीं। उन्होंने जगदीप को भागते देखा और शोर मचाया। जगदीप ने उन पर भी हमला करने की कोशिश की, लेकिन वह बच निकलीं। पड़ोसियों ने शोर सुनकर जगदीप को दबोच लिया और पुलिस को सौंप दिया। धर्मशिला ने बताया कि जगदीप आए दिन पूनम से झगड़ा करता था, जिससे परिवार परेशान था।

पुलिस की कार्रवाई और जांच

आलमबाग थाना पुलिस ने तुरंत मौके पर पहुंचकर जगदीप को गिरफ्तार कर लिया। हत्या में इस्तेमाल चाकू बरामद कर लिया गया, और शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया। पुलिस उपायुक्त (मध्य) आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि पूनम की तहरीर पर जगदीप के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया गया है। प्रारंभिक जांच में पारिवारिक विवाद और पूनम के साथ चल रही अनबन को हत्या का कारण माना जा रहा है। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि जगदीप हत्या की मंशा से चाकू लेकर आया था, जिससे यह साफ होता है कि उसने इस वारदात को पहले से योजना बनाकर अंजाम दिया।

पूनम की पीड़ा और परिवार का हाल

पूनम, जो एक प्राथमिक विद्यालय में शिक्षिका हैं, इस घटना से पूरी तरह टूट चुकी हैं। उनकी तबीयत बिगड़ रही है, और वह मानसिक और शारीरिक रूप से सदमे में हैं। पूनम और जगदीप के दो बेटे, गुरुवीर और सनवीर, हैं। बड़ा बेटा गुरुवीर अपनी मौसी के पास जम्मू में है, जबकि छोटा बेटा सनवीर (3) घटना के समय घर पर था और इस खौफनाक मंजर से सहम गया। पूनम की भाभी मोनिका ने बताया कि जगदीप ने व्यापार के नाम पर पूनम से पैसे ऐंठे और उन्हें अपनी अय्याशी में उड़ा दिया। उसकी धमकियों और मारपीट से तंग आकर पूनम ने अलग होने का फैसला किया था और तलाक के लिए कोर्ट में अर्जी देने की तैयारी कर रही थी।इलाके में दहशतइस दोहरे हत्याकांड ने गढ़ी कनौरा और आसपास के इलाकों में दहशत फैला दी है। स्थानीय लोगों ने बताया कि अनंतराम और आशा देवी सम्मानित और शांत स्वभाव के थे। अनंतराम के दो बेटे, रोहन (मिर्जापुर में इलाजरत) और सूरज (जम्मू में), और दो बेटियां, कंचन और पूनम, हैं। घटना ने पूरे परिवार को गहरे सदमे में डाल दिया है।

यह घटना न केवल एक परिवार की त्रासदी है, बल्कि समाज में बढ़ते पारिवारिक तनाव और हिंसा की एक डरावनी तस्वीर पेश करती है। पूनम की कहानी उन महिलाओं की पीड़ा को दर्शाती है, जो घरेलू हिंसा का शिकार होती हैं और अपने परिवार के भरोसे पर मायके लौटती हैं, लेकिन कई बार वहां भी उनकी जिंदगी और अपनों की जान खतरे में पड़ जाती है। पुलिस इस मामले की गहन जांच कर रही है, और उम्मीद है कि दोषी को सख्त सजा मिलेगी।