"समोसे खाकर नहीं चलेगी राजस्थान की सरकार" हनुमान बेनीवाल का भजनलाल सरकार पर तीखा तंज।

हनुमान बेनीवाल ने बीकानेर में आरएलपी के सातवें स्थापना दिवस रैली में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा पर तीखा तंज कसा। उन्होंने कहा कि सीएम रोज़ 15 समोसे खाते हैं, लेकिन "समोसे खाने से राजस्थान नहीं बदलेगा"। बाड़मेर कार्यकर्ताओं के प्रति विशेष स्नेह दिखाते हुए "मैं थासूं दूर नहीं" कहा। रैली में वसुंधरा राजे पर भी निशाना साधा और 2028 चुनाव की तैयारी का संकेत दिया।

Oct 29, 2025 - 21:25
"समोसे खाकर नहीं चलेगी राजस्थान की सरकार" हनुमान बेनीवाल का भजनलाल सरकार पर तीखा तंज।

बीकानेर, 29 अक्टूबर 2025: राजस्थान की सियासी गलियारों में इन दिनों हनुमान बेनीवाल का नाम जोर-जोर से गूंज रहा है। राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (आरएलपी) के संस्थापक और नागौर से सांसद हनुमान बेनीवाल ने मंगलवार को बीकानेर के पॉलिटेक्निक कॉलेज मैदान में अपनी पार्टी के सातवें स्थापना दिवस पर एक भव्य रैली का आयोजन किया। हजारों की संख्या में उमड़े समर्थकों के बीच बेनीवाल ने न सिर्फ अपनी पार्टी की ताकत का प्रदर्शन किया, बल्कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा पर ऐसा तंज कसा कि पूरी राजनीतिक और अफसरशाही में हलचल मच गई।

"समोसे खाने से राजस्थान नहीं बदलेगा" – यह बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो चुका है और विपक्षी दलों के बीच चर्चा का विषय बन गया है।रैली में बेनीवाल का स्वागत एक परिवार के सदस्य की तरह हुआ। खासकर बाड़मेर के कार्यकर्ताओं के प्रति उनका स्नेह देखने लायक था। जब मंच से बाड़मेर के कार्यकर्ताओं के बारे में पूछा गया, तो बेनीवाल ने भावुक होकर कहा, "मैं थासूं दूर नहीं" – यानी 'मैं कभी दूर नहीं हूं'। यह राजस्थानी मुहावरा उन्होंने अपने जीवन का हिस्सा बना लिया है। व्यस्त कार्यक्रमों के बीच भी वे एक साधारण कार्यकर्ता का फोन नहीं छोड़ते। एक कार्यकर्ता ने बताया, "बेनीवाल जी की यह आत्मीयता ही उनकी ताकत है। वे हमें सिर्फ वोट बैंक नहीं, परिवार का हिस्सा मानते हैं।"

बाड़मेर से सैकड़ों कार्यकर्ता विशेष रूप से पहुंचे थे, जो बेनीवाल के चेहरे पर झलकते स्नेह को देखकर गद्गद नजर आ रहे थे।रैली का मुख्य आकर्षण तब बढ़ा जब बेनीवाल ने सीएम भजनलाल शर्मा पर सीधी चोट की। मंच से बोलते हुए उन्होंने कहा, "मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा रोजाना कान्हा के 15 समोसे खाते हैं। हर दो घंटे में दो समोसे मंगवाते हैं, लेकिन समोसे खाने से राजस्थान नहीं बदलेगा। राज्य की समस्याओं का समाधान समोसों में नहीं, मेहनत और नीतियों में है।" यह बयान सुनते ही हॉल में ठहाके गूंज उठे और सोशल मीडिया पर #SamoseSeNahiBadlegaRajasthan ट्रेंड करने लगा।

बेनीवाल ने इसे जारी रखते हुए शर्मा को "राजस्थान के लिए पनौती" तक करार दिया। उन्होंने कहा, "जब से वे मुख्यमंत्री बने हैं, अग्नि देवता नाराज हो गए हैं। आग और विस्फोट की घटनाएं बढ़ गई हैं। राज्य सरकार वेंटिलेटर पर टिकी हुई है।"

यह तंज न सिर्फ हास्यपूर्ण था, बल्कि राज्य की बिगड़ती कानून-व्यवस्था, भ्रष्टाचार और युवाओं की बेरोजगारी पर गहरी चोट भी कर रहा था।रैली में बेनीवाल ने पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा, "वसुंधरा मुझे कुचलना चाहती थीं, लेकिन खुद ही दूर हो गईं।"  

साथ ही, युवाओं को संबोधित करते हुए आह्वान किया, "अब किसी का दिमाग खराब हो गया है, तो उसे ठीक करने का वक्त आ गया है। कभी भी विधानसभा या दिल्ली तक आंदोलन करना पड़ सकता है। तैयार रहो!" यह बयान एसआई भर्ती घोटाले, किसान आंदोलन और आरक्षण मुद्दों से जुड़ा था, जहां बेनीवाल पहले भी दिल्ली तक मार्च की धमकी दे चुके हैं।आरएलपी की यह रैली महज एक समारोह नहीं, बल्कि 2028 विधानसभा चुनावों की तैयारी का संकेत थी। बेनीवाल ने सात संकल्पों की घोषणा की – किसानों के कर्ज माफी से लेकर युवाओं की नौकरियों तक। बीकानेर से लेकर बाड़मेर तक का जनसैलाब देखकर कार्यकर्ताओं में उत्साह चरम पर था। एक स्थानीय कार्यकर्ता ने कहा, "बेनीवाल जी की रैलियां सिर्फ भाषण नहीं, क्रांति का आह्वान हैं।" रैली के दौरान केक काटकर स्थापना दिवस मनाया गया और मंच पर जाट, राजपूत, ब्राह्मण समेत 36 कौमों के नेता एकजुट नजर आए।राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह बयान भाजपा के लिए चुनौती है। भजनलाल सरकार पर पहले से ही अपराध, बेरोजगारी और भ्रष्टाचार के आरोप लग रहे हैं, और बेनीवाल का यह व्यंग्य उन्हें और कटघरे में खड़ा कर देगा। विपक्षी नेता इसे "जनता की आवाज" बता रहे हैं, जबकि भाजपा समर्थक इसे "व्यक्तिगत हमला" कहकर खारिज करने की कोशिश कर रहे हैं।