महाराष्ट्र में 40 लाख संदिग्ध वोटर: राहुल गांधी ने चुनाव आयोग पर उठाए गंभीर सवाल

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में 40 लाख संदिग्ध वोटरों के मुद्दे पर चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने पूछा कि जब इतनी बड़ी संख्या में वोटर अचानक जुड़ते हैं, तो यह कैसे सुनिश्चित होता है कि सही व्यक्ति ही मतदान कर रहा है। यह आरोप कांग्रेस और सहयोगी दलों के साथ दिल्ली में आयोजित एक संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में लगाए गए।

Aug 7, 2025 - 14:14
महाराष्ट्र में 40 लाख संदिग्ध वोटर: राहुल गांधी ने चुनाव आयोग पर उठाए गंभीर सवाल

संदिग्ध वोटरों का मुद्दा

राहुल गांधी ने दावा किया कि 2024 के लोकसभा चुनाव में महाराष्ट्र में 9.23 करोड़ मतदाता थे, जो विधानसभा चुनाव में बढ़कर 9.63 करोड़ हो गए। उन्होंने सवाल उठाया कि पांच महीनों में 39 लाख नए वोटर कैसे जुड़ गए, जबकि 2019 से 2024 तक पांच साल में केवल 32 लाख वोटर बढ़े थे। उन्होंने पूछा, “इतने वोटर कहां से आए, और क्या यह सुनिश्चित किया जा सकता है कि सही आदमी ही वोट कर रहा है?”

चुनाव आयोग की चुप्पी पर सवाल

राहुल ने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग ने मतदाता सूची और मतदान केंद्रों की वीडियोग्राफी साझा करने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा कि जब विपक्ष ने डिजिटल मतदाता सूची और सीसीटीवी फुटेज मांगे, तो आयोग ने जवाब देने के बजाय नियम बदल दिए। यह व्यवहार लोकतांत्रिक प्रक्रिया की पारदर्शिता पर सवाल खड़े करता है। उन्होंने दावा किया कि महाराष्ट्र की वयस्क आबादी से ज्यादा मतदाता कैसे हो सकते हैं?

विपक्ष का संयुक्त मोर्चा

प्रेस कॉन्फ्रेंस में शिवसेना (यूबीटी) के सांसद संजय राउत और एनसीपी-एससीपी की सांसद सुप्रिया सुले भी मौजूद थीं। संजय राउत ने कहा कि यदि चुनाव आयोग निष्पक्ष है, तो उसे इन सवालों का जवाब देना चाहिए। सुप्रिया सुले ने भी मतदाता सूची में अनियमितताओं की जांच की मांग की। विपक्षी गठबंधन ने इस मुद्दे पर संसद से सड़क तक संघर्ष करने की घोषणा की है।

चुनाव आयोग का जवाब

चुनाव आयोग ने राहुल गांधी के आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि मतदाता सूची जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 और निर्वाचक रजिस्ट्रीकरण नियम, 1960 के तहत तैयार की गई थी। आयोग ने दावा किया कि महाराष्ट्र में 9.77 करोड़ मतदाताओं की अंतिम सूची सभी दलों को उपलब्ध कराई गई थी, और केवल 89 अपीलें दर्ज हुई थीं। आयोग ने यह भी कहा कि मतदान प्रक्रिया में पारदर्शिता बरती गई, और प्रत्येक मतदान केंद्र पर राजनीतिक दलों के एजेंट मौजूद थे।

लोकतंत्र पर सवाल

राहुल गांधी ने कहा कि यह मामला केवल महाराष्ट्र तक सीमित नहीं है। उन्होंने मध्य प्रदेश, कर्नाटक और बिहार में भी मतदाता सूची में गड़बड़ी के आरोप लगाए। उन्होंने जोर देकर कहा कि अगर चुनाव आयोग पारदर्शी नहीं होगा, तो लोकतंत्र की नींव कमजोर होगी। विपक्ष ने इस मुद्दे पर तथ्यों के साथ आगे बढ़ने और जनता को जागरूक करने का संकल्प लिया है।